सुप्रीम कोर्ट ने कहा है कि दुर्घटना में शामिल वाहन के चालक के पास अगर समुचित लाइसेंस नहीं है तो बीमा कंपनी को मुआवजा देने के लिए बाध्य नहीं किया जा सकता।
उदाहरण के लिए एक व्यक्ति के पास हल्के मोटर वाहन (एलएमवी) चलाने का लाइसेंस हो लेकिन अगर वह परिवहन या भारी मोटर वाहन (एचएमवी) चलाता है और दुर्घटना कर बैठता है तो ऐसे मामलों में बीमा कंपनी को चालक या वाहन स्वामी को मुआवजा देने की जरूरत नहीं है।
न्यायमूर्ति सीके ठक्कर और तरुण चटर्जी की पीठ ने कहा कि अगर कोई व्यक्ति एचएमवी या परिवहन वाहन चला रहा है तो उसके पास हर हाल में उसे चलाने का वैध लाइसेंस होना चाहिए।
पीठ ने यह निर्देश न्यू इंडिया एश्यूरेंस कंपनी द्वारा दायर याचिकाओं पर दिया। कंपनी ने देश भर में विभिन्न उपभोक्ता फोरमों द्वारा परिवहन वाहन स्वामियों को दिए गए मुआवजे को चुनौती देते हुए कहा था कि चालकों के पास भारी वाहन चलाने के लिए वैध लाइसेंस नहीं होने के बावजूद उन्हें मुआवजा देने का निर्देश दिया गया।
Wednesday, January 23, 2008
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